उत्तर प्रदेश
उत्तर प्रदेश के किसानों की आय और कृषि क्षेत्र में रोजगार बढ़ाने के लिए राज्य सरकार ने अवस्थापना सुविधाएं बढ़ाने का फैसला किया है। इसके लिए आत्मनिर्भर कृषक समन्वित विकास योजना शुरू की गई है। इस योजना में राज्य सरकार इस साल राज्यांश से 100 करोड़ रुपये खर्च करेगी। पूरे प्रदेश को कृषि उत्पादन की दृष्टि से 9 एग्रो क्लाइमेटिक जोन में बांटा गया है। हर जोन अधिक उत्पादकता वाली फसलों को चिन्हित किया जाएगा।
कृषि विभाग के अपर मुख्य सचिव डा. देवेश चतुर्वेदी ने योजना के संबंध में मंगलवार को शासनादेश जारी किया है। योजना के तहत कृषि और उससे जुड़े विभागों उद्यान, खाद्य प्रसंस्करण, गन्ना, दुग्ध विकास, मत्स्य, पशुधन एवं मंडी परिषद से सामंजस्य बनाते हुए हर विकासखंड में कृषि उत्पादक संगठनों (एफपीओ) की स्थापना की जाएगी। कृषि विभाग किसानों को बाजार भी उपलब्ध कराएगा। इसके लिए कृषि क्षेत्र में करीब 1000 लोगों से निवेश कराने का लक्ष्य रखा गया है।
हर जोन में चयनित फसलों की उत्पादकता बढ़ाने के लिए उन्हें नई तकनीकी देने के साथ ही निवेश को प्रोत्साहित किया जाएगा। योजना के दो घटक होंगे। पहला एफपीओ को विकसित कर प्रोत्साहित करना और दूसरा केंद्र सरकार द्वारा गठित कृषि अवस्थापना निधि के लक्ष्यों के अनुसार उपभोग के लिए प्रोत्साहन।