( अमिताभ पाण्डेय )
मध्य प्रदेश में टीकमगढ़ जिले के जतारा नामक शहर में 20 अगस्त 1969 को जन्म लेने वाले प्रवीण श्रीवास्तव संवेदनशील कवि और मस्त मिजाज पत्रकार के रूप में पहचाना जाता था।
टीकमगढ़ जिले से पत्रकारिता शुरू कर भोपाल के प्रमुख समाचार पत्रों में अपनी कलम का प्रभाव दिखाने वाले प्रवीण श्रीवास्तव " सौम्य " अचानक भगवान के घर चले जाएंगे यह किसी ने नहीं सोचा था।
उन्होंने भोपाल में दैनिक भास्कर, राज एक्सप्रेस, दबंग दुनिया, हिंदी मेल जैसे समाचार पत्रों के साथ ही लाइव इंडिया, न्यूज़ भारत टीवी चैनल के लिए भी पत्रकारिता का कार्य किया । मध्यप्रदेश में जब सुश्री उमा भारती मुख्यमंत्री बनी तो उन्होंने प्रवीण श्रीवास्तव " सौम्य " के सुझाव पर बेटियों को स्कूल आने जाने के लिए साइकिल दिए जाने की घोषणा की ।
बाद में इस योजना का लाभ अन्य राज्यों की बेटियों को भी मिला ।
ठेठ बुंदेलखंड अंदाज में जिंदगी को जीने वाले प्रवीण की पहचान पत्रकारिता के साथ ही समसामयिक विषयों पर गंभीर कविताओं को रचने वाले संवेदनशील कवि के रूप में भी थी। वह पिछले कुछ वर्षों से कवि सम्मेलनों में मां की महिमा पर केंद्रित कविताओं का पाठ करके लोकप्रिय हो रहे थे।
अपने दोस्तों के बीच सदैव मस्त मिजाज, हंसते मुस्कुराते रहने वाले प्रवीण ने " सौम्य संवाद " नामक समाचार पत्र का प्रकाशन किया। यह पाक्षिक पेपर सकारात्मक खबरों के कारण कम समय में ही देश प्रदेश में चर्चित हो गया ।
मानवीय संवेदनाओं को अपने कार्य , व्यवहार में जीने वाले प्रवीण श्रीवास्तव " सौम्य " को कोरोना की महामारी ने 17 अप्रैल 2021 को हमसे छीन लिया। पत्रकारिता और कविताओं के मंच का चमकदार सितारे प्रवीण असमय ही देवलोक चले गए।
उनके जाने से एक बेहतरीन दोस्त कम हो गया ।
प्रवीण के परिवार में अब उनकी पत्नी श्रीमती निधि श्रीवास्तव उनके सुपुत्र आर्यन और बेटी सौम्या हैं।
प्रवीण का हंसमुख चेहरा , मां की महिमा को बढ़ाती उनकी कविताएं हम कभी नहीं भूल पाएंगे ।
प्रवीण हमारी यादों में हमेशा बने रहेंगे ।
उनकी स्मृति को सादर नमन।
