चंडीगढ़
पंजाब में साल 2027 में विधानसभा चुनाव होंगे। इसे लेकर राजनीतिक दलों ने अभी से ही अपनी-अपनी तैयारी तेज कर दी है। इस बीच पंजाब भाजपा के कार्यकारी अध्यक्ष अश्विनी शर्मा ने मंगलवार को कहा कि पार्टी 2027 का पंजाब विधानसभा चुनाव अपने दम पर अकेले लड़ेगी। अश्विनी शर्मा ने आम आदमी पार्टी (आप) की भगवंत मान सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि राज्य में कानून व्यवस्था ठप हो गई है। उन्होंने कहा कि 2022 में पंजाब में सरकार बनाने के बाद जिस तरह आम आदमी पार्टी ने नगर निगम और नगर परिषद चुनावों में अपने मेयर और अध्यक्ष बनाने के लिए सरकारी मशीनरी का गलत इस्तेमाल किया, अब उसी तरह जिला परिषद और ब्लॉक समिति चुनाव जीतना चाहती है।
उन्होंने चंडीगढ़ में राज्य चुनाव समिति की बैठक से पहले मीडिया से बात करते हुए कहा कि सरकार अपने बेतुके बयानों से लोगों का ध्यान भटका रही है।
अश्विनी शर्मा ने कैबिनेट मंत्री हरपाल सिंह चीमा के बयान की आलोचना करते हुए कहा कि सरकार को 2027 के विधानसभा चुनावों के नतीजों का पहले ही अंदाजा हो गया है, इसीलिए घबराहट में वह जनता का ध्यान भटकाने के लिए बेबुनियाद बयान दे रही है। उन्होंने सरकार से सवाल किया कि क्या सरकार राज्य में कानून व्यवस्था को कंट्रोल कर पाई है? क्या ड्रग्स माफिया और गैंगस्टर खत्म हो गए हैं? और क्या किसानों, मजदूरों और महिलाओं से किए गए वादे पूरे हुए हैं?
शर्मा ने कहा कि आप सरकार बाढ़ प्रभावित लोगों को मुआवजा देने में विफल रही है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 11 साल के राज से देश में जो माहौल बना है, उससे पंजाब के लोगों में उम्मीद और भरोसे की भावना पैदा हुई है। उन्होंने कहा कि पंजाबी ड्रग्स का खात्मा, गैंगस्टरों का खात्मा, कानून-व्यवस्था को मजबूत करना और हरियाणा की तरह फसलों पर न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) की गारंटी चाहते हैं। शर्मा ने आरोप लगाया कि उन्होंने पठानकोट से फाजिल्का तक गैर-कानूनी माइनिंग का पर्दाफाश किया था, लेकिन उसके बावजूद मुख्यमंत्री भगवंत मान ने न तो कोई एक्शन लिया और न ही पब्लिक में कोई सफाई दी। उन्होंने आगे कहा, "इससे साफ पता चलता है कि आप सरकार के लिए प्राथमिकता पंजाब नहीं, बल्कि अरविंद केजरीवाल को खुश करना है।"

