Tuesday, December 16

मुख्यमंत्री योगी से मिले टाटा संस के चेयरमैन, यूपी में एआई सिटी, सेंटर ऑफ एक्सीलेंस और हाई-टेक निवेश पर बनी सहमति

मुख्यमंत्री योगी से मिले टाटा संस के चेयरमैन, यूपी में एआई सिटी, सेंटर ऑफ एक्सीलेंस और हाई-टेक निवेश पर बनी सहमति


मुख्यमंत्री योगी से मिले टाटा संस के चेयरमैन, यूपी में एआई सिटी, सेंटर ऑफ एक्सीलेंस और हाई-टेक निवेश पर बनी सहमति

उत्तर प्रदेश में टाटा समूह के साथ बहुआयामी सहयोग, ट्रिलियन डॉलर इकॉनमी के लक्ष्य को मिलेगी गति

लखनऊ में एआई सिटी, गोरखपुर में सेंटर ऑफ एक्सीलेंस, युवाओं के लिए तकनीक व रोजगार के नए द्वार

टीसीएस की इकाईयों का होगा विस्तार,30 हजार तक बढ़ेगा आईटी कार्यबल, यूपी में जीसीसी की स्थापना पर भी हुई चर्चा

इलेक्ट्रॉनिक्स व डिफेंस कॉरिडोर में टाटा समूह बढ़ाएगा निवेश, यूपी बनेगा मैन्युफैक्चरिंग हब

लखनऊ

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से सोमवार को टाटा संस के चेयरमैन एन. चंद्रशेखरन ने शिष्टाचार भेंट की। इस अवसर पर उत्तर प्रदेश में टाटा समूह द्वारा संचालित एवं प्रस्तावित परियोजनाओं की प्रगति, विस्तार तथा नए निवेश प्रस्तावों पर व्यापक और सार्थक चर्चा हुई। बैठक में एआई, आईटी, इलेक्ट्रॉनिक्स, रक्षा विनिर्माण, ऊर्जा, नवीकरणीय ऊर्जा, ईवी, पर्यटन, कौशल विकास और डिजिटल अर्थव्यवस्था सहित विभिन्न क्षेत्रों में दीर्घकालिक सहयोग को लेकर सहमति बनी।

बैठक के दौरान टाटा संस के चेयरमैन ने राजधानी लखनऊ में ‘एआई सिटी’ विकसित करने का प्रस्ताव प्रस्तुत किया। यह परियोजना उत्तर प्रदेश को कृत्रिम बुद्धिमत्ता के क्षेत्र में वैश्विक हब के रूप में स्थापित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी। एआई सिटी के माध्यम से प्रदेश में स्टार्टअप इकोसिस्टम को बढ़ावा मिलेगा तथा भविष्य की तकनीकों पर आधारित हजारों नए रोजगार अवसर सृजित होंगे। इसके साथ ही गोरखपुर में 48 करोड़ रुपये से तैयार हो रहे ‘सेंटर ऑफ एक्सीलेंस’ की स्थापना कार्य की प्रगति पर भी चर्चा हुई, जिससे विशेष रूप से पूर्वांचल के युवाओं को उन्नत तकनीकी प्रशिक्षण और अवसर प्राप्त होंगे। टाटा समूह ने अवगत कराया कि आईआईटी कानपुर के साथ किए गए एमओयू के माध्यम से एआई, साइबर सिक्योरिटी, डेटा साइंस, 3डी प्रिंटिंग, ड्रोन और स्पेस टेक्नोलॉजी जैसे क्षेत्रों में युवाओं को प्रशिक्षित किया जाएगा। यह पहल प्रदेश में स्किल डेवलपमेंट और इंडस्ट्री-रेडी वर्कफोर्स तैयार करने में सहायक होगी।

बैठक में टाटा संस के मुखिया की ओर से प्रदेश में ग्लोबल कैपेबिलिटी सेंटर (जीसीसी) की स्थापना को लेकर भी विचार-विमर्श हुआ, साथ ही टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज की लखनऊ, नोएडा और वाराणसी इकाइयों के विस्तार पर भी सहमति बनी। टीसीएस की लखनऊ और नोएडा यूनिट में कार्यबल को 16,000 से बढ़ाकर 30,000 किए जाने का प्रस्ताव राज्य के डिजिटल टैलेंट पूल को नई मजबूती प्रदान करेगा।

इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्युफैक्चरिंग के क्षेत्र में उत्तर प्रदेश की तेजी से विकसित होती क्षमता को देखते हुए टाटा समूह ने मोबाइल उपकरणों, इलेक्ट्रॉनिक कंपोनेंट्स और अन्य हाई-टेक उत्पादों के निर्माण में निवेश बढ़ाने की इच्छा जताई। इस संदर्भ में टाटा समूह द्वारा इंटेल के साथ किए गए एमओयू का उल्लेख करते हुए प्रदेश में इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरिंग इकोसिस्टम को और मजबूत करने पर चर्चा हुई। इसके साथ ही इलेक्ट्रिक बसों, ईवी और अन्य वाहनों के नए मॉडलों के निर्माण में भी सहयोग और निवेश विस्तार पर सहमति बनी।

बैठक में उत्तर प्रदेश के डिफेंस इंडस्ट्रियल कॉरिडोर को लेकर भी विस्तृत विचार-विमर्श हुआ। टाटा समूह ने झांसी सहित प्रदेश के विभिन्न रक्षा औद्योगिक नोड्स में ड्रोन, मिसाइल और रक्षा वाहनों के निर्माण के लिए निवेश बढ़ाने का प्रस्ताव रखा। झांसी में बीडा के अंतर्गत परियोजना विस्तार की जानकारी साझा करते हुए टाटा समूह ने मुख्यमंत्री के विजन के अनुरूप प्रदेश की रक्षा प्राथमिकताओं में पूर्ण सहयोग देने का आश्वासन दिया।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि उत्तर प्रदेश सरकार निवेशकों को स्थिर नीति, पारदर्शी व्यवस्था और अनुकूल कारोबारी वातावरण उपलब्ध कराने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि टाटा समूह के साथ यह बहुआयामी सहयोग राज्य की अर्थव्यवस्था, रोजगार सृजन और तकनीकी आत्मनिर्भरता को नई ऊंचाइयों पर ले जाएगा। मुख्यमंत्री और टाटा संस के चेयरमैन के बीच हुई यह बैठक उत्तर प्रदेश को ट्रिलियन डॉलर इकॉनमी बनाने के संकल्प की दिशा में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर सिद्ध होगी।

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