Friday, February 14

राजधानी एम्स में फैकल्टी के 80 पद खाली

राजधानी एम्स में फैकल्टी के 80 पद खाली


भोपाल
 राजधानी भोपाल में स्‍थित अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) में चार चरण की भर्ती के बाद भी फैकल्टी के 80 पद खाली हैं। यहां पर फैकल्टी के 305 पद हैं। इनमें 225 ही अभी तक भरे जा चुके हैं। अब न्यूरोलॉजी विभाग के एडिशनल प्रोफेसर व विभागाध्‍यक्ष डॉक्टर नीरेंद्र राय और कार्डियोलॉजिस्ट डॉक्टर गौरव खंडेलवाल के इस्तीफा देने के बाद मरीजों की परेशानी बढ़ना तय है। इसकी वजह यह है कि दोनों विभागों में इकलौते डॉक्टर हैं। हालांकि न्यूरोलॉजी विभाग में ट्रामा एवं इमरजेंसी यूनिट से सहायक अध्यापक को फिलहाल शिफ्ट किया गया है। एम्‍स में डॉक्टरों के नौकरी छोड़ने से रिसर्च और शैक्षणिक काम भी प्रभावित होंगे।

एम्स के कुछ फैकल्टी ने  बताया कि डॉ नीरेंद्र राय और गौरव खंडेलवाल सुपर स्पेश्‍यलिटी विभागों में होने के बाद भी उस तरह से काम नहीं कर पा रहे थे। इसकी बड़ी वजह संसाधनों की कमी है। दोनों विभागों में मेडिकल कॉलेज के बराबर भी सुविधाएं नहीं है। टेक्नीशियन नहीं होने की वजह से ईईजी समेत कई जांचे मरीजों की नहीं हो पाती है। तंत्रिका तंत्र से जुड़ी बीमारियों का पता लगाने के लिए एनसीवी जांच भी एम्स में नहीं हो पा रही है, जबकि यह सुविधा गांधी मेडिकल कॉलेज भोपाल में भी है। एम्स के नाम से इन दोनों विभागों में प्रदेश भर से मरीज इलाज के लिए आते हैं। भोपाल में भर्ती के लिए एम्स में अभी प्रक्रिया भी शुरू नहीं हुई है। ऐसे में इन पदों के जल्दी भरे जाने की उम्मीद नहीं है। दूसरे विभाग में मरीजों को जांच के लिए हृदय रोग विभाग और न्यूरोलॉजी विभाग में भेजते हैं, लेकिन डॉक्टरों के नहीं रहने से राय लेने के लिए उन्हें गांधी मेडिकल कॉलेज जाना पड़ेगा।

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